सार्वजनिक शौचालय की हालत बदहाल,जिम्मेदार बने अनजान
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रिपोर्ट -ब्यूरो चीफ
उतरौला(बलरामपुर) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी स्वच्छता अभियान में गांव गांव सार्वजनिक शौचालय बनवाकर साफ सफाई रखने का सन्देश दे रहे हो लेकिन परिवहन विभाग व नगर पालिका परिषद उतरौला इसका माखौल उडा रहा है। इसका जीता-जागता उदाहरण सवा करोड़ रुपए की लागत से बना बस स्टेशन उतरौला का है जहां पर यात्रियों के लिए सार्वजनिक शौचालय नहीं है। बस स्टेशन के अन्दर सार्वजनिक शौचालय न होने से यात्रियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।बस स्टेशन उतरौला के यात्रियों की सुविधा के लिए कृषि उत्पादन मंडी समिति उतरौला ने लाखों रुपए की लागत से छः सीटर सार्वजनिक शौचालय का निर्माण कराया था। शौचालय मरम्मत के अभाव में जीर्ण शीर्ण होने पर इसकी दीवारें क ई तरह से दरक ग ई । दरवाजे टूट कर गिर गए। उस से शौचालय खण्डहर हो ग ए। मजबूरन कार्यदाई संस्था शौचालय को बंद कर दी। इधर सवा करोड़ रुपए की लागत से बस स्टेशन का निर्माण परिवहन विभाग ने कराया लेकिन सार्वजनिक शौचालय का निर्माण नहीं कराया। उधर बस स्टेशन का शौचालय के बंद होने के तीन वर्ष बीतने पर नगर पालिका परिषद उतरौला ने भी बस स्टेशन परिसर में सार्वजनिक शौचालय का निर्माण नहीं कराया है। दोनों विभागों के द्वारा सार्वजनिक शौचालय का निर्माण न कराए जाने से यात्री शौचालय के लिए भटकते रहते हैं। सबसे अधिक समस्या दूर दराज से आने वाले यात्रियों को होती है। बस स्टेशन उतरौला में सार्वजनिक शौचालय की मांग को लेकर उतरौला विकास मंच के अध्यक्ष आदिल हुसैन ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर बस स्टेशन उतरौला परिसर में सार्वजनिक शौचालय बनवाए जाने की मांग की है।